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ओस की बूँदों तुमने बस .. निश्चल हो कर जीना सिखा, परत नहीं अंदर अपने कोई रखी बस पारदर्शिता पहिचान बना के रखना सिखा....!! ऐसी सीख हम भी कुछ उनसे पाएँ ...